कटरा. मां वैष्णो देवी के रोप-वे प्रोजेक्ट का विरोध कर रहे स्थानीय दुकानदारों ने 72 घंटे का बंद बुलाया है, जिसकी वजह से कटरा में सन्नाटा है. बजार में सन्नाटा पसरा है. मंदिर मार्ग पर पालकी, पिट्ठू वाले और घोड़ेवाले नजर नहीं आ रहे हैं. कटरा संघर्ष समिति स्थानीय दुकानदारों का समर्थन कर रही है. पिछले काफी समय से रोप-वे का विरोध हो रहा है. बीते बुधवार को विरोध प्रदर्शन के दौरान स्थानीय दुकानदारों पर पुलिस की ओर से लाठीचार्ज भी किया गया था.
श्रीमाता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड की ओर से रोप-वे का निर्माण किया जा रहा है. जिसका काम शुरू हो गया है. इसके लिए तीन सौ पचास करोड़ का प्रोजेक्ट शुरू किया गया है. इसके लिए आस्ट्रिया से केबल कार केबिन मांगने के लिए आर्डर दिया है. दो साल में प्रोजेक्ट पूरा होगा. इससे श्रृद्धालु सीधे सांझी छत तक जा सकेंगे, जहां से दो किलोमीटर पैदल यात्रा करके मां के मंदिर तक पहुंच सकेंगे.
स्थानीय दुकानदार, पालकी वाले, पिट्ठू और घोड़ वाले इसका विरोध कर रहे हैं. इनका कहना है कि रोप-वे बनने से इनका व्यापार चौपट हो जाएगा. इससे सीधे तौर पर दो लाख से ज्यादा लोग प्रभावित होंगे, जिसमें स्थानीय दुकानदारों के साथ पालकी वाले, पिट्ठू वाले और घोड़ वाले शामिल है. क्योंकि यात्रा मार्ग में 25 सौ से ज्यादा दुकान है, जिसका धंधा खत्म हो जाएगा.
साथ ही प्रोजेक्ट का विरोध करनेवाले कह रहे हैं कि रोप-वे सीधा सांझी छत तक जाएगा. बीच में वाणगंगा, अर्द्धकुमारी व चरण पादुका भक्त नहीं जा सकेंगे. अगर भक्त इन जगहों पर नहीं जाते हैं, तो यात्रा अधूरी मानी जाती है. वहीं, श्राइन बोर्ड का कहना है कि रोप-वे को वैकल्पिक तौर पर बनाया जा रहा है, जिससे बूढ़े, बीमार व बच्चे सीधे मां के दर्शन के लिए जा सकें. जो लोग वाण गंगा और अर्द्धकुमारी तक जाना चाहते हैं, उन्हें पैदल मार्ग से जाना होगा, लेकिन इसके बाद भी दुकानदार मानने के लिए तैयार नहीं है, वो इसका विरोध कर रहे हैं. इनका कहना है कि यात्रा मार्ग पर 10 हजार से ज्यादा घोड़े, पालकी और पिट्ठू वाले हैं, जिनकी एक से दो हजार की रोज की कमाई है. अगर रोप-वे बन जाएगा, तो इनकी कमाई पर सीधा असर पड़ेगा. वहीं, रास्ते में जो भोजनायल है. प्रसाद व अन्य चीजों की दुकानें हैं. उनके सामने भी रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो जाएगा.
कटरा संघर्ष समिति ने स्थानीय होटल मालिकों से अपील की है. वो नई बुकिंग नहीं लें, जो श्रद्धालु दर्शन के लिए आ चुके हैं. उनके लिए होटल खुले रखें, क्योंकि ये संघर्ष लंबा चलने की उम्मीद है. वहीं, श्राइन बोर्ड की ओर से स्थानीय दुकानदारों समेत अन्य लोगों को समझाने की कोशिश की जा रही है, लेकिन अब तक इसमें सफलता नहीं मिली है. विरोध प्रदर्शन को देखते हुए प्रशासन ने सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए हैं.