Jharkhand Coal Payment: सीएम हेमंत सोरेन ने पीएम मोदी को लिखा पत्र लिखकर झारखंड कोयला बकाये का मुद्दा उठाया है।
हेमंत सोरेन ने प्रधानमंत्री मोदी को लिखे पत्र में कहा, ‘कानून में प्रावधान और न्यायिक फैसलों के बावजूद कोयला कंपनियां कोई भुगतान नहीं कर रही हैं।
ये सवाल आपके कार्यालय, वित्त मंत्रालय और नीति आयोग समेत कई मंचों पर उठाए गए हैं। इन सब के बावजूद अभी तक इस बकाया राशि 1.36 लाख करोड़ रुपये का भुगतान नहीं किया गया है।’
झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखा। इसमें उन्होंने कहा कि खनन बकाए पर सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद कोयला कंपनियों ने 1.36 लाख करोड़ रुपये का बकाया नहीं चुकाया है। इस वजह से राज्य और उसके लोगों को काफी नुकसान हो रहा है।
उन्होंने भारतीय रिजर्व बैंक के भंडार से कोल इंडिया के खाते से झारखंड राज्य को सीधे राशि हस्तांतरित करने की मांग की। इसके लिए उन्होंने झारखंड राज्य विद्युत बोर्ड द्वारा डीवीसी को देय राशि के मामले का जिक्र किया।
हेमंत सोरेन ने प्रधानमंत्री मोदी को लिखे पत्र में कहा, ‘कानून में प्रावधान और न्यायिक फैसलों के बावजूद कोयला कंपनियां कोई भुगतान नहीं कर रही हैं। ये सवाल आपके कार्यालय, वित्त मंत्रालय और नीति आयोग समेत कई मंचों पर उठाए गए हैं। इन सब के बावजूद अभी तक इस बकाया राशि 1.36 लाख करोड़ रुपये का भुगतान नहीं किया गया है।’
CM सोरेन ने कहा, ‘झारखंड एक अल्पविकसित राज्य है। यहां बहुत सारी सामाजिक आर्थिक विकास परियोजनाएं हैं, जो हमारी उचित मांगों के पूरा न होने के कारण बाधित हो रही हैं।
राज्य द्वारा उठाई गई उचित मांग के भुगतान में इस देरी ने मुझे आपको यह पत्र लिखने के लिए बाध्य किया है, क्योंकि इस लापरवाही के कारण झारखंड और उसके लोगों को अपूरणीय क्षति हो रही है।
शिक्षा, स्वास्थ्य, महिला एवं बाल विकास, स्वच्छ पेयजल और अंतिम छोर तक कनेक्टिविटी जैसी सामाजिक क्षेत्र की विभिन्न योजनाएं धन की कमी के कारण जमीनी स्तर पर लागू नहीं हो पा रही हैं।