BJP Chunao: हरियाणा विधानसभा चुनाव में फॉर्मूला हिट होने के बाद अब बीजेपी झारखंड और महाराष्ट्र में बहुतेरे विधायकों का टिकट काट सकती है।
हरियाणा विधानसभा चुनाव में अप्रत्याशित सफलता से उत्साहित भाजपा अब महाराष्ट्र और झारखंड में अपनी चाक-चौबंद तैयारियों में जुट गई है। पार्टी को विश्वास है कि महाराष्ट्र में वह एक बार फिर से गठबंधन सरकार बना लेगी, जबकि झारखंड में विपक्ष से सत्ता छीनने में सफल होगी।
महाराष्ट्र में 30% और झारखंड में 25% विधायकों के टिकट कटने की संभावना
महाराष्ट्र में भाजपा गठबंधन सत्ता में है, इसलिए पार्टी अपने मौजूदा विधायकों में से लगभग 30% के टिकट काट सकती है। वहीं, झारखंड में यह संख्या 25% तक हो सकती है। झारखंड में पार्टी ने हाल ही में उम्मीदवारों पर मंथन पूरा कर लिया है, जहां सभी सीटों पर तीन नामों के पैनल बनाए गए हैं। लगभग आधी सीटों पर एक नाम तय किया जा चुका है, जबकि शेष सीटों पर दो या तीन नामों पर विचार जारी है। केंद्रीय चुनाव समिति के सामने ले जाने से पहले एक बार फिर इन सभी नामों पर विचार किया जाएगा।
महाराष्ट्र में सीटों के बंटवारे की तैयारियाँ
महाराष्ट्र में भाजपा अपने सहयोगी दलों के साथ सीटों के बंटवारे को अंतिम रूप देने की कोशिश में लगी हुई है। भाजपा के वरिष्ठ नेता और गृहमंत्री अमित शाह सभी दलों के नेताओं से एक दौर की बातचीत कर चुके हैं। जल्दी ही वह सीटों के बंटवारे पर सहयोगी दलों के नेताओं के साथ सहमति बना लेंगे। फिलहाल, राज्य के भाजपा नेता आपस में बातचीत कर हर सीट का गणित तैयार कर रहे हैं और तथ्यों के आधार पर यह तय कर रहे हैं कि कौन सी सीट किसे मिलेगी। इस प्रक्रिया में चुनाव प्रभारी भूपेंद्र यादव अहम भूमिका निभा रहे हैं।
महाराष्ट्र में भाजपा 170 सीटों पर लड़ सकती है चुनाव
महाराष्ट्र में भाजपा सबसे ज्यादा लगभग 170 सीटों पर चुनाव लड़ सकती है। दूसरे स्थान पर शिवसेना (शिंदे) और तीसरे स्थान पर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (अजित पवार गुट) को सीटें दी जाएंगी। सूत्रों के अनुसार, लगभग 10 से 20 सीटों को लेकर ही विवाद है, बाकी सीटों पर मोटे तौर पर सहमति बन चुकी है। जो सीटें वर्तमान में जिस दल के पास हैं, वे उनके पास ही रहने की संभावना है, जबकि हारी हुई सीटों पर तीनों दलों के अलग-अलग दावे हैं। कुछ मौजूदा विधायकों के टिकट कटेंगे और पिछली बार चुनाव लड़ने वाले कई नेताओं की जगह नए चेहरों को मौका दिया जाएगा।
हरियाणा की जीत से बढ़ा बीजेपी का मनोबल
हरियाणा विधानसभा चुनाव में मिली जीत ने भाजपा का मनोबल काफी बढ़ा दिया है। महाराष्ट्र में, जहां गठबंधन की सत्ता है, वहाँ कुछ क्षेत्रों में सत्ता विरोधी माहौल हो सकता है। इसके बावजूद पार्टी विपक्षी गठबंधन पर हमलावर रहने की योजना बना रही है।
मराठा आरक्षण आंदोलन बना सिरदर्द
भाजपा की सबसे बड़ी चिंता मराठा आरक्षण आंदोलन है, जो कई सीटों पर पार्टी के लिए चुनौती बन सकता है। इस आंदोलन का प्रभाव लोकसभा चुनाव में शरद पवार के नेतृत्व वाली राकांपा को मिली सफलता में देखा गया था। अब विधानसभा चुनाव में भी भाजपा को इस आंदोलन से नुकसान हो सकता है। इसके मद्देनजर, भाजपा विदर्भ, पश्चिम महाराष्ट्र, कोंकण और खानदेश क्षेत्रों पर ज्यादा ध्यान दे रही है, ताकि इन क्षेत्रों में बेहतर प्रदर्शन किया जा सके।