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सरकार बनी, तो धान 3000 रुपये में खरीदेंगे
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ओबीसी के साथ हकमारी कर रही है केंद्र सरकार
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तेंदूपत्ता तोड़नेवाले परिवारों को हर साल चार हजार देंगे
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हिंदी की बात करनेवाले बच्चों को अंग्रेजी स्कूल में पढ़ाते हैं
Rahul Gandhi_Chhattisgarh: छत्तीसगढ़ के दो दिन के चुनावी दौरे पर पहुंचे राहुल गांधी ने पहले दिन बस्तर इलाके में चुनावी सभाएं कीं. इस दौरान वो केंद्र की भाजपा सरकार पर हमलावर रहे. साथ ही उन्होंने छत्तीसगढ़ के लोगों से बड़ा वादा किया और कहा कि हमारी सरकार वापस आएगी, तो केजी से पीजी तक की पढ़ाई मुफ्त में करवाएंगे. उन्होंने धान की खरीद का मुद्दा उठाया और कहा कि हमनें 25 रुपये क्विंटल की बात कही थी, लेकिन दे रहे हैं 2640. जब फिर सरकार बनेगी, तो इसे तीन हजार कर देंगे.
कांग्रेस के सबसे बड़े नेता राहुल गांधी ने छत्तीसगढ़ दौरे के पहले दिन दो सभाएं कीं. पहली भानुप्रतापपुर और दूसरी कोंडागांव विधानसभा क्षेत्र में. दोनों जगहों पर उनका भाषण लगभग आधा घंटे का रहा. इस दौरान उन्होंने छत्तीसगढ़ की भूपेश बघेल की सरकार के कामों की तारीफ की. उनके निशाने पर रही केंद्र सरकार. उन्होंने जातिगत गणना का मामला उठाया और कहा कि केंद्र की सरकार ओबीसी को हक नहीं देना चाहती है. केंद्र में जो सरकार है, उसके पास 90 सेक्रेटी हैं, जो देश को चलाने की योजनाएं बनाते हैं. इनमें केवल तीन सेक्रेटी ही ओबीसी से आते हैं. केंद्र की सरकार ओबीसी के साथ हकमारी कर रही है.
राहुल गांधी ने किसानों का मुद्दा उठाया और कहा कि अभी तक सरकार किसी जमीन का अधिग्रहण करती थी, तो संबंधित ग्रामसभा मंजूरी लेनी होती थी, लेकिन केंद्र की सरकार ने इसके लिए बने पेसा कानून को खोखला कर दिया है. भाजपा की सरकार ने इसको खत्म कर दिया है. उन्होंने कहा कि हमारी सरकार ने मनरेगा शुरू किया था, जिसे भाजपा ने बेकार बताया. हमने मजदूरों का सम्मान किया, क्योंकि हम जानते हैं कि जब तक गरीबों की मदद नहीं की जाएगी, तब तक देश मजबूती के साथ खड़ा नहीं हो पाएगा, लेकिन केंद्र की सरकार कानून बनाकर किसानों को कमजोर कर रही है और अडानी को मजबूती दे रही है.
आदिवासी इलाके की सभाओं को संबोधित करने के दौरान कांग्रेस नेता ने अपना भाषण आदिवासियों पर ही फोकस रखा. राहुल गांधी ने तेंदूपत्ता तोड़नेवालों से बड़ा वादा किया और कहा कि तेंदूपत्ता तोड़ने वाले हर परिवार को हम हर साल प्रोत्साहन भत्ता के रूप में चार हजार रुपये देने का वादा करते हैं. भाजपा की ओर से तेंदूपत्ता को लेकर राज्य सरकार को घेरा जा रहा था, लेकिन राहुल गांधी ने अपनी पहली ही चुनावी सभा में तेंदूपत्ता को लेकर घोषणा की है.
उन्होंने शिक्षा की चर्चा करते हुये कहा कि भाजपा के नेता अंग्रेजी के खिलाफ बात करते हैं, लेकिन उनके बच्चे अंग्रेजी मीडियम के स्कूलों में पढ़ते हैं. कांग्रेस की सरकार हिंदी के साथ छत्तीसगढ़ी और अंग्रेजी भाषा को तवज्जो दे रही है. आत्मानंद स्कूलों के जरिये बच्चों को हिंदी के साथ अंग्रेजी की शिक्षा दी जा रही है. साफ है कि भाजपा के नेता नहीं चाहते कि गरीब का बेटा अंग्रेजी बोले.
राहुल गांधी ने छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार के कामों को गिनाया और कहा कि हमने जो वादा किया था, उसे पूरा किया. सरकार बनते ही किसानों के दस हजार करोड़ के कर्ज को माफ किया. बिजली के बिल को हाफ यानी आधा किया गया. आदिवासियों को उनकी जमीन वापस दिलायी. अब जो वादे कर रहे हैं सरकार बनते ही, इनको भी पूरा किया जाएगा.
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने अपने भाषण में नोटपबंदी और जीएसटी का मुद्दा भी उठाया और कहा कि ये फैसले इसलिए लिये गये, ताकि अडानी को फायदा हो सके. केंद्र सरकार के इन फैसलों से आम आदमी को परेशानी के सिवा कुछ नहीं मिला. सभी को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी संबोधित किया. उन्होंने कहा कि भाजपा नेताओं के बात की गारंटी नहीं है, लेकिन राहुल गाधी की बात की गारंटी है. पिछले बार सरकार बनी, तो हमने दो घंटे में किसानों के दस हजार करोड़ के कर्ज को माफ किया.
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने केंद्र सरकार पर किसानों को परेशान करने का आरोप लगाया. 2014 में छत्तीसगड़ में डबल इंजन की सरकार थी, जिसने किसानों को बोनस देना बंद कर दिया. हमने प्रधानमंत्री को बोनस देने के लिए पत्र लिखा है, लेकिन अब तक अनुमति नहीं मिली है. भाजपा आदिवासियों को वनवासी कहती है, लेकिन उनका हक छीनने की कोशिश करती है. 15 साल में रमन सिंह ने पेसा कानून को लागू नहीं किया.
मुख्यमंत्री ने कहा कि महादेव एप को लेकर कितना हल्ला हो रहा है, लेकिन भाजपा के लोगों की महादेव एप बनानेवालों के साथ साठगांठ है, जिसकी वजह से एप को बंद नहीं किया जा रहा है. उन्होंने आवास का मुद्दा उठाया और कहा कि केंद्र की सरकार हिस्सा दे न दे, लेकिन राज्य में सरकार बनेगी, तो 17.50 लाख गरीबों को आवास देने का काम करेगी.
राहुल गांधी रविवार को राजनांदगांव और कवर्धा में चुनावी सभाओं को संबोधित करेंगे. इस दौरान उनके निशाने पर केंद्र की भाजपा सरकार रहेगी. राहुल गांधी ओबीसी और जातिगत जनगणना के मुद्दे को इन दिनों प्रमुखता से उठा रहे हैं.